गणेश वैद/ पंडित विनय शर्मा लोकल न्यूज ऑफ इंडिया द्वारिका शारदा पीठ के शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती जी से उनके कनखल स्थित आश्रम में लोकल न्यूज ऑफ इंडिया की खास मुलाकात - जिसमे शंकराचार्य जी से हमारे उत्तराखंड ब्यूरो गणेश वैद द्वारा धर्म संसद ,असली नकली शंकराचार्य में भेद ,महामंडलेश्वर जैसे पदों पर अयोग्य व्यक्तियों की न्युक्तियो और सनातन धर्म सम्बंधी पूछे गए प्रश्नों पर स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती जी का जवाब सुनिए - आदि शंकराचार्य जी ने सनातन धर्म को पुनः स्थापित करने के पश्चात आगे भी कोई बाधा ना आए इसके लिए चारो पीठ की स्थापना की,उन्होंने बताया कि महाअनुशास्न में ये व्यवस्था दी गई की प्रत्येक युग में एक जगत गुरु होगा । जिसमे सतयुग में ब्रह्मा जगतगुरू थे ,त्रेता में गुरु वशिष्ठ ,जब द्वापर आया तो व्यास जी हुए और कलयुग में आदि शंकराचार्य जी ने कहा कि में स्वयं हू । अब प्रश्न ये उठता है कि कलयुग की आयु लंबी है अतः आदिशंकराचार्य केवल 32 वर्षों तक ही इस धरा धाम में रहे । अतः ये जो चार पीठ मै बना रहा हू उनमें जो भी योग्य सन्यासी बैंठे उन्हें मेरा स्वरूप समझा जाए । इसलिए उन्होंने