जलोड़ी दर्रा की बर्फ से ढकी खामोश वादियाँ बनी पर्यटकों के आकर्षण का केन्द्र मौसम खुलते ही उमड़ा सैलानियों का सैलाब। बर्फवारी के दौरान सड़क मार्ग से वाहनों की आवाजाही रहती है बाधित। प्रस्तावित जलोड़ी सुरंग निर्माण कार्य में लेटलतीफी से लोगों में रोष। परसराम भारती लोकल न्यूज ऑफ इंडिया तीर्थन घाटी गुशैनी बंजार I हिमाचल प्रदेश जिला कुल्लु में हिमालय पर्वत की चोटी का जलोडी दर्रा समुन्द्र तल से करीब से दस हजार फुट की ऊंचाई पर स्थित है। यह दर्रा इनर सराज और बाह्य सराज के मध्य स्थित कुल्लु जिला के बंजार और आनी उपमण्डल को आपस में जोड़ता है। जलोड़ी दर्रा से पूर्व की ओर बाह्य सराज तथा पशिचम की ओर इनर सराज का खूबसूरत नजारा देखने को मिलता है। यहाँ तक सड़क मार्ग द्वारा आसानी से पहुँचा जा सकता है। यह दर्रा सर्दियों के मौसम में भारी बर्फबारी होने के कारण अक्सर मध्य नवम्बर माह से फरवरी माह तक वाहनों की आवाजाही के लिए बन्द रहता है जो आमतौर पर हर साल मार्च माह के दूसरे सप्ताह में खुलता है। इस दौरान वाह्य सराज के आनी और निरमंड खण्ड की 58 पंचायतों के हज़ारों लोगों को जिला मुख्यालय कुल्लु में अपने...